श्री गणेश द्वादशनाम स्तोत्रम् एक महत्वपूर्ण और पवित्र स्तोत्र है जो भगवान गणेश के बारह नामों की महिमा का वर्णन करता है। यह स्तोत्र भगवान गणेश की कृपा प्राप्त करने के लिए अत्यंत प्रभावशाली माना जाता है। इसे पाठ करने से विद्या, धन, और इच्छित फल की प्राप्ति होती है। श्री गणेश द्वादशनाम स्तोत्रम् का नियमित पाठ करने से जीवन के सभी विघ्न और बाधाएं दूर होती हैं और भगवान गणेश की कृपा से जीवन में सुख, समृद्धि और शांति की प्राप्ति होती है। यह स्तोत्र विशेष रूप से विद्यारंभ, विवाह, और अन्य शुभ अवसरों पर पाठ किया जाता है।
Shri Ganesha Dvadashanama Stotram Lyrics – श्रीगणेश द्वादश नाम स्तोत्रम्
॥ श्रीगणेश द्वादश नाम स्तोत्रम्॥
श्रीगणेशाय नमः
शुक्लाम्बरधरं विश्णुं शशिवर्णं चतुर्भुजम् ।
प्रसन्नवदनं ध्यायेत्सर्वविघ्नोपशान्तयेः ॥ १॥
अभीप्सितार्थसिद्ध्यर्थं पूजितो यः सुरासुरैः ।
सर्वविघ्नहरस्तस्मै गणाधिपतये नमः ॥ २॥
गणानामधिपश्चण्डो गजवक्त्रस्त्रिलोचनः ।
प्रसन्नो भव मे नित्यं वरदातर्विनायक ॥ ३॥
सुमुखश्चैकदन्तश्च कपिलो गजकर्णकः ।
लम्बोदरश्च विकतो विघ्ननाशो विनायकः ॥ ४॥
धूम्रकेतुर्गणाध्यक्षो भालचन्द्रो गजाननः ।
द्वादशैतानि नामानि गणेशस्य तु यः पठेत् ॥ ५॥
विद्यार्थी लभते विद्यां धनार्थि विपुलं धनम् ।
इष्टकामं तु कामार्थी धर्मार्थी मोक्षमक्षयम् ॥ ६॥
विद्यारंभे विवाहे च प्रवेशे निर्गमे तथा ।
सङ्ग्रामे सङ्कटे चैव विघ्नस्तस्य न जायते ॥ ७॥
। इति मुद्गलपुराणोक्तं श्रीगणेशद्वादशनामस्तोत्रं सम्पूर्णम् ।